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6th Semester Education Sec | Education: Media in Education | Unit 1 - शिक्षा में मास मीडिया: प्रिंट मीडिया Part 3 | Offline Exam Notes

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6th Semester Education Sec

Education: Media in Education

Unit 1 Part 3

शिक्षा में मास मीडियाप्रिंट मीडिया


संचार मानव जीवन की एक मूलभूत विशेषता है। संचार के द्वारा ही एक व्यक्ति दूसरे व्यक्ति से बात कर पाता है तथा अपने विचारों को स्थानांतरित कर पाता है। जब प्रेषक (sender) और प्राप्तकर्ता (receiver) आमने सामने नहीं होते हैं तो संचार प्रौद्योगिकी की सहायता से होता है जैसे संदेशों का प्रसारण वितरणरेडियोटेलीविजन और इंटरनेट के द्वारा।


जनसंचार: लोग समूह संचार को जनसंचार मान लेते हैं क्योंकि जनसमूह या भीड़ दोनों ही प्रकार के जनसंचार में होता है। वास्तव में समूह संचार एवं जनसंचार में मुख्य अंतर यही है कि जब संचार की प्रक्रिया दो तीन या उससे कुछ अधिक संख्या में उपस्थित लोगों के बीच होती है तो वह समूह संचार कहलाता है परंतु जब किसी यंत्र का प्रयोग करके बड़े स्तर पर संचार किया जाता है तब उसे जन संचार प्रौद्योगिकी कहा जाता है।

जनसंचार को मास कम्युनिकेशन भी कहा जाता है। इसके द्वारा अनेक वर्गों जातियों समुदायों और विचारधाराओं के लोगों के साथ संचार या बातचीत की जा सकती है। इसके अंतर्गत मुद्रण माध्यम जैसे समाचार पत्र, पत्रिकाएं, पुस्तकें, पोस्टर, टेंप्लेट, आदि।

श्रव्य  एवं दृश्य माध्यम -  जैसे रेडियो, ऑडियो कैसेट, फिल्म टेलीविजन वीडियो कैसेट, सीडी और डीवीडी आदि एवं

नव इलेक्ट्रॉनिक्स मध्यम - उपग्रह एवं कंप्यूटर प्रणाली अर्थात इंटरनेट से जुड़े माध्यम आते हैं।


मास मीडिया में दर्शकों की तीन मुख्य विशेषताएं हैं जैसे बड़े आकार, विविध और भौगोलिक रूप से बिखरे हुए इनके उदाहरण निम्नलिखित हैं: 

बड़ा आकार- एक क्रिकेट मैच या ओलंपिक खेल या एक सौंदर्य प्रतियोगिता जैसे मिस यूनिवर्स जब दुनिया भर में टेलीविजन और रेडियो चैनल द्वारा सीधा प्रसारण किया जाता है। दर्शकों का आकार बहुत बड़ा होता है।

विविध - दुनिया के विविध दर्शक टेलीविजन श्रृंखला देख रहे हैं उदाहरण के लिए कौन बनेगा करोड़पति सीआईडी बालिका वधू बी आर चोपड़ा की महाभारत रामानंद सागर की रामायण हम लोग या कोई और  निवेदिता उनकी उम्र लिंग धर्म सामाजिक आर्थिक पृष्ठभूमि और कोई अन्य मापदंडों के संदर्भ पर मौजूद होती है।

भौगोलिक रूप में बिखरा हुआ- दुनिया भर के सिनेमाघरों में रिलीज होने वाली फिल्मो को दुनिया के विभिन्न हिस्सों से इस फिल्म को देखते हैं इस प्रकार भौगोलिक रूप से यह लोग बिखरे हुए हैं।


पुस्तकें / किताबें


पुस्तके संचार का सबसे पुराना माध्यम है। किताबों का इतिहास 500 साल पहले का पता लगाया जा सकता है। मिस्र में लगभग 3000 ईसा पूर्व में जपपाइरस रोल पौधे से बनाए जाते थे जो कागज जैसा होता था। पपीइरस और उसके एक तरफ हाथ से पाठ लिखा जाता था।

कागज का आविष्कार 15 वी शताब्दी में हुआ था उस समय के आसपास गुटेनबर्ग ने प्रिंटिंग प्रेस का आविष्कार किया था। प्रिंटिंग प्रेस में किताबों की छपाई में क्रांति ला दी। तथा किताबों को पढ़ने वालों की संख्या में भी भारी वृद्धि हुई।

भारत में पहला प्रिंटिंग प्रेस 1566 में गोवा में और बाद में ट्रंक्यूबर (चेन्नई के पासऔर सेरामपुर (कोलकाता के पासमें स्थापित किया गया था।

धर्मविज्ञानइतिहासराजनीतिक विचारनैतिकतासामाजिक चेतनाउपन्यासफिक्शननॉनफिक्शनरोमांटिककहानी की किताबेंकॉमिक किताबेंस्कूल की पाठ्यपुस्तककॉलेज और उच्च शिक्षा के लिए किताब जैसे विभिन्न विषयों पर पुस्तकें प्रकाशित की जाती हैं।

भारत में पुस्तकों का पेपरबेक 1940 के दशक में जैको पब्लिशिंग हाउस द्वारा पेश किया गया था।

राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद एनसीआरटी और राज्य शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद एससीईआरटी।

 

पुस्तकों की भूमिका

 

ऐतिहासिक समय में अधिक से अधिक लोगों ने पुस्तकों को पढ़ना सीखा इससे लोगों की सोचने समझने की शक्ति में महत्वपूर्ण बदलाव आया और इन परिवर्तनों ने विज्ञान और लोकतंत्र के विचारों के विकास में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।

 पुस्तकों द्वारा प्रदान किए जाने वाले कुछ मुख्य कार्य-

    मानव मूल्यों का विकास और संवर्धन promotion

    एक राष्ट्र की उन्नति के लिए उत्प्रेरक करना

    शिक्षा और मूल्य प्रदान करना

    एक व्यक्ति के समग्र विकास में सहायता

आजकल e-books और ऑडियोबुक्स भी उपलब्ध है। e-books कंप्यूटर या मोबाइल पर पड़े जाने वाली मुद्रित पुस्तकों का इलेक्ट्रॉनिक संस्करण है। ऐमेज़ॉन का किंडल बुक का एक महत्वपूर्ण उदाहरण है क्योंकि अमेजॉन किंडल पर बहुत सारी  बुक उपलब्ध है।

 

समाचार पत्र


हिंदी में प्रचलित समाचार शब्द अंग्रेजी के न्यूज़ का पर्याय है। न्यूज़ शब्द चारों दिशाओं North East West South के नामों का संक्षिप्त रूप है।

सामाजिक प्राणी होने के नाते मनुष्य अपने आसपास के समाज एवं देश दुनिया की घटनाओं के बारे में जानने के लिए उत्सुक रहता है यही जानकारी हमें समाचार पत्र के द्वारा प्राप्त होती है। समाचार परिभाषित करते हुए कहा जाता है कि वह सब कुछ जिससे हम कल तक अज्ञानी थे जिसके बारे में हमें नहीं पता था हमारे लिए समाचार है।

1700 के दशक के अंत और 1800 के दशक की शुरुआत में एक समाचार पत्र को प्रकाशित करने की लागत अक्सर बहुत अधिक होती थी| 1830 तक विज्ञान और प्रौद्योगिकी के विकास में छपाई के नए तरीकों का आविष्कार किया और कम लागत वाले कागज के विकास से कम कीमत पर बड़ी संख्या में समाचार पत्रों की छपाई आरंभ कर दी।

1880 के दशक में अखबार बड़े पैमाने पर प्रदर्शित होना चालू हो गया तथा अखबार जनसंचार का एक बहुत बड़ा माध्यम बन गया।

भारत में अखबार पहली बार 29 जनवरी 1780 को ब्रिटिश राज के तहत James Augustus Hicky द्वारा प्रकाशित किया गया था इसका नाम बंगाल गजट या आमतौर पर Hicky के राजपत्र के रूप में जाना जाता था।

1857 को भारत में पत्रकारिता के उद्भव वर्ष के रूप में जाना जाता है।

    1857 को भारतीय प्रेस और ब्रिटिश प्रेस के विभाजन के रूप में चयनित किया जाता है और इसके परिणाम स्वरूप 1876 ने वर्नाक्यूलर प्रेस एक्ट आया।

    1861 मैं रॉबर्ट नाइट द्वारा  टाइम्स ऑफ इंडिया का पहला संस्करण प्रकाशित किया गया था।

    1868 मैं अमृत बाजार पत्रिका शुरू की गई इस समाचार पत्र ने मुख्य रूप से समाज सुधारकों और राजनीतिक नेताओं पर ध्यान केंद्रित किया और पत्रकारिता के क्षेत्र में योगदान देना शुरू कर दिया।


वर्तमान में भारत में चार प्रमुख समाचार एजेंसियां हैं प्रेस ट्रस्ट ऑफ इंडियायूनाइटेड न्यूज़ ऑफ़ इंडियासमाचार भारतीहिंदुस्तान समाचार।

 

समाचार पत्र की भूमिका-

 

समाचार पत्र दैनिक रूप से प्रकाशित होने वाला एक मुद्रित प्रकाशन है। इसमें विभिन्न विषयों पर समाचार विज्ञापन और लेख शामिल होते हैं। समाचार पत्र लोकतंत्र में एक अहम भूमिका निभाता है। समाचार पत्र के द्वारा ही जनता को उसके आसपास के वातावरण माहौल में क्या हो रहा है इसकी जानकारी प्राप्त होती है।

अखबार में कॉमिक स्ट्रिपक्रॉसवर्ड पजलसप्ताहिक दैनिक राशिफल भविष्यवाणियांमौसम पूर्वानुमानसलाह परामर्शनागरिक अभियानराजनीतिक समाचारकहानियांचिल्ड्रन कॉर्नरस्टॉप जैसी कई कॉलम उपलब्ध होते हैं। बाजार समाचारफिल्म समीक्षाफिल्म स्टार, सेलिब्रिटी समाचारखेल अनुभागफोटोग्राफ रविवार पत्रिका और संवाददाता आदि समाचार पत्र में उपलब्ध होती है।

समाचार पत्र एक व्यक्ति के जीवन में मनोरंजन का माध्यम भी है।

रेडियो टेलीविजन और इंटरनेट से समाचार पत्र को बड़ी चुनौती दी है। लोग बड़े स्तर पर समाचार पत्र को अपनी स्क्रीन पर प्राप्त करने के लिए इंटरनेट तथा टीवी का प्रयोग करते हैं जिससे कि समाचार पत्र के पढ़ने वालों की संख्या में भारी गिरावट आई है।

अधिकांश समाचार पत्र एजेंसी अब समाचार पत्र के साथ साथ समाचार पत्र को पीडीएफ के रूप में भी उपलब्ध करा रहे हैं तथा वेबसाइट पर भी उपलब्ध करा रहे हैं जिससे कि उनके ग्राहक उनसे जुड़े रहे।

     आप लेखक को ईमेल कर सकते हैं जिसकी कहानी आपने पढ़ी है।

    आपके द्वारा किया गया कॉमेंट कम्युनिटी रीडर्स को एक विषय पर वार्तालाप करने में सहायता करता है।

    24 घंटे सातों दिन खबरें वेबसाइट पर उपलब्ध रहते हैं।

    वीडियो के द्वारा आप समाचार पत्र का रिव्यू भी देख सकते हो।


पत्रिका

 

Magazine एक फ्रेंच शब्द है जिसका अर्थ भंडार ग्रह होता है। पत्रिका सामग्री जैसे कहानियां कविताएं समाचार पत्र और अन्य आइटम का संग्रह होता है जो उनके संपादक को का मानना है कि उनके दर्शकों को दिलचस्प लगेगा।

1700 के दशक में पत्रिका बहुत लोकप्रिय हुई। 1731 में अंग्रेज एडवर्ड कोव ने  जेंटलमैन मैगजीन नामक एक पत्रिका निकाली।

मास मीडिया में पत्रिकाओं का परिवर्तन 1825 और 1850 के बीच हुआ। पत्रिका अखबार और पुस्तकों की तरह तेजी से पढ़ी जाने लगी।

भारतीय पत्रिका उद्योग में पहली सफलता स्टारडस्ट द्वारा की गई थी जिसने उज्जवल चित्रों को पेश किया और सेलिब्रिटी पत्रकारिता को सबसे आगे लाया।

दूसरी सफलता इंडिया टुडे की थी गुणवत्ता के मामले में यह भारत का पहला सफल प्रयास था। आज विशेष क्षेत्र में उपलब्ध पत्रिकाएं निम्नलिखित है - जीवन शैलीयात्राऑटोमोबाइलपर्यावरणअर्थव्यवस्थाखानपानशिक्षा और बहुत कुछ।

कुछ लोकप्रिय पत्रिकाएं आउटलुकफ्रंट लुकफेमिनाकंपटीशन सक्सेस रिव्यूजीकेटुडेडाउन टू अर्थयोजनाचिल्ड्रन वर्ल्डबिजनेस वर्ल्डचंपक और कई अन्य।

पत्रिका की भूमिका

    बिजनेस टू बिजनेस पत्रिका

    उपभोक्ता पत्रिका

    साहित्यिक समीक्षा और अकादमिक जर्नल

    समाचार

    कॉमिक बुक

 

 

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